बीरबल महतो, सारस न्यूज़, किशनगंज।
मंगलवार देर शाम कोसी व सीमांचल में पत्रकारिता जगत के लिए एक बहुत बुरी खबर लेकर आई। बिहार की पत्रकारिता में कलम से मुखरता का नया अध्याय लिखने वाले प्रमंडलीय पत्रकार संघ, पूर्णियां के अध्यक्ष गंगा प्रसाद चौधरी नहीं रहें। मंगलवार के देर शाम करीब साढ़े आठ बजे उन्होंने आखिरी सांस ली। वे आजीवन सीमांचल और कोसी के पत्रकारों में पत्रकारिता का पितामह बने रहे।
वरिष्ठ पत्रकार गंगा प्रसाद चौधरी निधन के बाद से मीडिया जगत में शोक की लहर दौड़ गई है।कई वरिष्ठ पत्रकारों और राजनेताओं ने उन्हें श्रद्धांजलि दी है। दरअसल देर शाम अकस्मात उनके पारिवारिक सदस्यों की ओर से बाथरूम में गिरने की सूचना आई। जिसके फौरन बाद उन्हें इलाज के लिए निजी अस्पताल ले जाने की तैयारी पारिवारिक सदस्यों की ओर से शुरू हुई। हालांकि अस्पताल ले जाने के दौरान ही उनकी मौत हो गई। निधन के बाद उनके शव को अंतिम दर्शन के लिए उनके निजी आवास ले जाया गया है। जहां पत्रकारों, समाजसेवियों व नेताओं के पहुंचने का सिलसिला शुरू हो गया है।उनके निधन से हिंदी पत्रकारिता के तेजतर्रार, निष्पक्ष एवं राष्ट्रीयता को समर्पित एक युग का अवसान हो गया। वे हिन्दी भाषा आंदोलन के एक सक्रिय सेवक एवं आन्दोलनकारी जुझारू व्यक्तित्व थे और हिंदी दिवस में उनकी असामायिक मृत्यु हो जाना भी एक आश्चर्य चकित रहा। उन्होंने पत्रकारिता के उच्च आदर्शों और मूल्यों के लिए अपने आपको नियोजित किये रखा। उन्होंने संस्कृति एवं संस्कारों को अक्षुण्ण बनाये रखने की चेतना को झंकृत कर उन्हें युग-निर्माण की दिशा में आधार बनाया। उनकी कलम में तोप, टैंक एवं एटम से भी कई गुणा अधिक ताकत थी और इस ताकत का उपयोग उन्होंने समाज एवं राष्ट्र-निर्माण के निर्माणात्मक कार्यों में किया। वहीं सीमांचल और कोसी के पत्रकारिता के स्तंभ कहे जाने वाले प्रमंडलीय पत्रकार संघ के अध्यक्ष गंगा प्रसाद चौधरी का यूं अकस्मात दुनिया को अलविदा कह जाने को सारस न्यूज परिवार ने अपूर्णीय क्षति बताया है।