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भारत-भूटान-बांग्लादेश व्यापार को नई उड़ान: जोगीघोपा लॉजिस्टिक्स पार्क का भूटान नरेश ने किया निरीक्षण।

सारस न्यूज़, वेब डेस्क।

भूटान के राजा जिग्मे खेसर नामग्याल वांगचुक ने शनिवार को असम के जोगीघोपा में निर्माणाधीन इंटरनेशनल मल्टीमॉडल लॉजिस्टिक्स पार्क (MMLP) का निरीक्षण दौरा किया। यह परियोजना भारत, भूटान और बांग्लादेश के बीच व्यापारिक संपर्क को सहज बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम मानी जा रही है।

करीब 90 मिनट तक चले इस दौरे में भूटानी राजा ने पार्क की संभावनाओं और उससे सटे इनलैंड वॉटर टर्मिनल की कार्यप्रणाली को समझा। यह टर्मिनल पार्क से महज एक किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। इस परियोजना को भारत, भूटान और बांग्लादेश के बीच व्यापार को मजबूती देने के लिहाज से रणनीतिक रूप से महत्वपूर्ण माना जा रहा है, क्योंकि यह स्थल भूटान के गेलेफु से 91 किमी, बांग्लादेश सीमा से 108 किमी और गुवाहाटी से 147 किमी दूर स्थित है।

यह देश का पहला ऐसा लॉजिस्टिक्स पार्क है जिसे केंद्र सरकार की महत्वाकांक्षी भारतमाला परियोजना के तहत विकसित किया जा रहा है। ब्रह्मपुत्र नदी के किनारे 317 एकड़ भूमि पर बन रहा यह पार्क असम के बोंगाईगांव जिले के जोगीघोपा में स्थित है, और इसके निर्माण की ज़िम्मेदारी नेशनल हाईवे एंड इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट कॉर्पोरेशन लिमिटेड (NHIDCL) के पास है।

इस लॉजिस्टिक्स पार्क में वेयरहाउसिंग, रेलवे साइडिंग, कोल्ड स्टोरेज, कस्टम क्लीयरेंस हाउस, कार्गो यार्ड, कार्यशालाएं, फ्यूल स्टेशन, पार्किंग, प्रशासनिक भवन, लॉजिंग, रेस्टोरेंट और जल शुद्धिकरण संयंत्र जैसी आधुनिक सुविधाएं होंगी।

राजा जिग्मे खेसर सुबह 9 बजे हेलीकॉप्टर से गेलेफु से जोगीघोपा पहुंचे। उनके साथ भारत में भूटान के राजदूत और अन्य अधिकारी भी मौजूद थे। असम के मंत्री जयंत मल्ल बरुआ ने जानकारी दी कि राजा ने पार्क की मास्टर प्लान को देखा, नाश्ता किया और इनलैंड वॉटर टर्मिनल की लॉजिस्टिक्स व कार्गो हैंडलिंग क्षमता के बारे में जानकारी ली। भूटानी प्रतिनिधिमंडल में करीब 50 से 60 लोग शामिल थे।

भूटान पहले भी इस परियोजना में रुचि दिखा चुका है। फरवरी में आयोजित जोगीघोपा इनलैंड वॉटर टर्मिनल के उद्घाटन समारोह में भूटान का एक मंत्रीस्तरीय प्रतिनिधिमंडल भी शामिल हुआ था। उस कार्यक्रम की अध्यक्षता केंद्रीय पोर्ट्स और शिपिंग मंत्री सर्बानंद सोनोवाल ने की थी।

मंत्री बरुआ ने सोशल मीडिया पर लिखा, “मुख्यमंत्री डॉ. हिमंत बिस्व सरमा के निर्देश पर मैंने भूटान नरेश का स्वागत किया। यह पार्क असम की अर्थव्यवस्था को नई उड़ान देगा और भूटान तथा बांग्लादेश के साथ व्यापारिक रिश्तों को मजबूत करेगा।”

उन्होंने यह भी कहा कि भूटान द्वारा प्रस्तावित ‘गेलेफु माइंडफुलनेस सिटी’ इस लॉजिस्टिक्स पार्क की सफलता में योगदान देगी।

मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा ने भी इस दौरे को भारत-भूटान के बीच घनिष्ठ संबंधों का प्रतीक बताया। दिसंबर में खुद मुख्यमंत्री सरमा ने भूटान की चार दिवसीय यात्रा की थी, जिसे भूटान के विदेश मंत्रालय ने “पड़ोसी संबंधों के लिए अहम” बताया था।

इस वर्ष की शुरुआत में गुवाहाटी में आयोजित दो दिवसीय ‘एडवांटेज असम 2.0’ निवेश शिखर सम्मेलन में भी भूटान ने भाग लिया था, जिसमें कृषि, शिक्षा, ऊर्जा, पर्यटन और व्यापार जैसे क्षेत्रों में साझेदारी की संभावनाओं पर चर्चा हुई थी।


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