बीरबल महतो, सारस न्यूज़, किशनगंज।
सात निश्चय योजना की पहल पर जिले के हृदय रोग से पीड़ित बच्चों का इलाज नि:शुल्क कराया जा रहा है। जिसका सार्थक परिणाम यह है कि समुचित इलाज और स्वास्थ्य होने की उम्मीद छोड़ चुके पीड़ित बच्चे पूरी तरह स्वस्थ हो रहे हैं। हृदय संबंधी रोग से ग्रसित जिले के चार बच्चों को इलाज के लिए पटना भेजा गया है। राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के तहत संचालित बाल हृदय योजना के तहत इन बच्चों का नि:शुल्क इलाज होना है। यह बातें गुरुवार को आरबीएसके जिला समन्वयक डा. ब्रह्मदेव शर्मा ने अस्पताल परिसर में कही।
उन्होंने कहा कि हृदय रोग से ग्रसित बच्चों के लिए 17 दिसंबर को इंदिरा गांधी इंस्टीच्यूट आफ कार्डियोलाजी पटना में विशेष शिविर का आयोजन होगा। बच्चों के इलाज से लेकर बच्चे और अभिभावकों के आने जाने सहित तमाम खर्च सरकार द्वारा वहन किए जाएंगे। आरबीएसके टीम द्वारा हृदय रोग से ग्रसित चिह्नित कुल चार बच्चों में दिघलबैंक प्रखंड के फैजान (छह माह), बहादुरगंज प्रखंड के माहिया (चार वर्ष) एवं फरहाना नाज (तीन वर्ष) और टेढ़ागाछ प्रखंड की सपना कुमारी (छह वर्षीय) शामिल हैं। वहीं जिला कार्यक्रम प्रबंधक डा. मुनाजिम ने कहा कि जन्म से ही हृदय रोग से पीड़ित बच्चे को सांस लेने में परेशानी होती है। हमेशा सर्दी-खांसी रहती है। चेहरे, हाथ, होंठ नीले पड़ने लगते हैं। जिसके कारण गंभीर होने पर बच्चों के दिल में छेद हो जाता है। हृदय रोग से पीड़ित बच्चों के स्थायी निजात के लिए समय पर इलाज शुरू कराना जरूरी है। साथ ही होंठ कटे बच्चों का इलाज तीन सप्ताह से तीन माह, तालु में छेद वाले बच्चों का छह से 18 माह, टेढ़े पैर वाले बच्चों का दो सप्ताह से दो माह के अंदर शत-प्रतिशत सफल इलाज संभव है। इसलिए अभिभावक इन सब बीमारियों से पीड़ित बच्चों का आरबीएसके टीम के सहयोग से समय पर मुफ्त इलाज करा सकते हैं।