राहुल कुमार, सारस न्यूज़, किशनगंज।
बीते दिनों कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज में एक ट्रेनी महिला चिकित्सक के साथ हुए बलात्कार और निर्मम हत्या के विरोध में एमजीएम मेडिकल कॉलेज के 600 से अधिक छात्र-छात्राओं और चिकित्सकों ने कैंडल मार्च निकालकर विरोध प्रदर्शन किया। प्रदर्शन के दौरान “डॉक्टर के हत्यारे को फांसी दो,” “सुरक्षा नहीं तो काम नहीं,” और “वी वांट जस्टिस” जैसे जोरदार नारे लगाए गए। घटना को लेकर चिकित्सकों और छात्रों में भारी आक्रोश देखा गया।
कैंडल मार्च एमजीएम मेडिकल कॉलेज के कैंपस से शुरू होकर सड़कों पर होते हुए पुनः कॉलेज परिसर में समाप्त हुआ। मार्च के दौरान छात्रों ने हाथों में “डू नॉट हाइड, स्पीक आउट,” “नो सेफ्टी, नो ड्यूटी” जैसे संदेश लिखे बोर्ड भी उठाए हुए थे।
एमजीएम मेडिकल कॉलेज के रजिस्ट्रार, डॉ. इच्छित भारत ने कहा कि जिस तरह से बंगाल के आरजी कर मेडिकल कॉलेज में पीजी सेकेंड सेमेस्टर की छात्रा के साथ रेप के बाद उसकी निर्मम हत्या की गई है, यह घटना बहुत ही गंभीर है और बिना किसी राजनीतिक हस्तक्षेप के उसे न्याय मिलना चाहिए। उन्होंने कहा, “अगर आज हम चुप रहे, तो कल को हमारे साथ या किसी और के साथ भी ऐसी घटना हो सकती है। इसलिए हम सभी को मिलकर पीड़िता को न्याय दिलाना चाहिए।”
बंगाल के हुक्मरानों को चेतावनी देते हुए डॉ. इच्छित भारत ने कहा कि अगर किसी ने भी इस दरिंदे को बचाने की कोशिश की, तो उसे यह सोचना चाहिए कि आज जो घटना यहाँ हुई है, वह कल उनके साथ भी घटित हो सकती है। डॉक्टर को न्याय मिलना चाहिए।
उन्होंने यह भी बताया कि आईएनए के आह्वान पर किशनगंज के सभी अस्पताल और मेडिकल कॉलेज कल से दो दिनों के लिए हड़ताल पर रहेंगे। सरकार को दो दिनों की मोहलत दी गई है, यदि इस अवधि में कार्रवाई नहीं हुई तो हम देशव्यापी हड़ताल करेंगे।
अब यह रिपोर्ट अधिक स्पष्ट और पेशेवर रूप से तैयार है।
