विशेष संवाददाता, सारस न्यूज़, दार्जिलिंग।
खोरीबाड़ी : लोग कहते हैं कि जब सब कोई सोते हैं, तो सुरक्षा बल के जवान जागते रहते हैं। जब लोग जागते हैं, तो ये जवान चौकस हो जाते हैं। देश के विभिन्न सैनिकों में से सशस्त्र सीमा बल (एसएसबी) का भी महत्वपूर्ण स्थान है। कहा जाता है एसएसबी का काम वैसे तो मुख्य रूप से सीमा की रक्षा करना होता है, लेकिन वह सुरक्षा के साथ-साथ पिछले कई वर्षों से सीमावर्ती क्षेत्रों में रहनेवाले लोगों के बीच गरीबी लोगों के क्षेत्र में अहम भूमिका निभा रही है। अपने सिविक एक्शन कार्यक्रम के तहत भारत-नेपाल के सीमावर्ती क्षेत्रों में हजारों लोगों को कई तरह की रोजगारमूलक प्रशिक्षण दे चुकी है, जिससे लोग अपना रोजगार शुरू कर आय प्राप्त कर रहे हैं।
इसी क्रम में गुरुवार को सिविक एक्शन कार्यक्रम के तहत एसएसबी की 41 वीं वाहिनी के द्वारा सीमावर्ती गांव खोरीबाड़ी प्रखंड के मदनजोत के प्राइमरी स्कूल के प्रांगण में मेडिकल और वेटेरिनरी शिविर का आयोजन किया गया । इस कार्यक्रम में एसएसबी 41 वीं वाहिनी के कमांडेंट सुभाष चंद नेगी, 41 वी वाहिनी कमांडेंट ( मेडिकल ) डॉ . रिंकू डे, डॉ . विक्टो साह, द्वितीय कमांडेंट नवीन कुमार राय, सहायक कमांडेंट निखिल विस्वास मौजूद थे।
कार्यक्रम के शुभारंभ में नवीन कुमार राय ने एसएसबी सिद्धांतों व इस कार्यक्रम के बारे में लोगों को अवगत कराया। उसके उपरांत कार्यक्रम का शुभारंभ कमांडेंट सुभाष चंद नेगी के द्वारा किया गया । सुभाष चंद नेगी ने लोगों को नए साल कि शुभकामना दी व धन्यवाद ज्ञापित किया । साथ ही एमसीए और वीसीए शिविर के आयोजन के लक्ष्य एवं इसके उपयोगिता के बारे में स्थानीय लोगों को अवगत कराया व लोगों से अपील कि मैं जरूरतमंद लोग इस अभियान के माध्यम से अपना एवं अपने पशुधन का मुफ़्त इलाज कराए व लाभ लें । साथ ही नेगी ने अपने संबोधन में कहा कि स्थानीय जनता के सहयोग के बिना कोई भी संस्था अपने दायित्वों का पूर्णरूप से निर्वहन नही कर सकती। आप लोगों का सहयोग देश की सीमा की रक्षा में अपेक्षित है।
इस शिविर के दौरान, 219 लोगों ( मरीजों ) का इलाज किया गया और तदनुरूप जीवनरक्षक दवाईयां वितरित की गयी । साथ ही वीसीए शिविर में 81 गायों, 01 स्वान, 87 बकरी, 196 मुर्गियाँ, एवं 51 लोगों को पशुओ कि जीवनरक्षक दवाईयां वितरित की गयी । इसके उपरांत कार्यक्रम सफलता पूर्वक संपन्न हुआ । वहीं इस कार्यक्रम के आयोजन के लिए सीमावासियों ने एसएसबी कि सराहना की और भविष्य में एसएसबी को सहयोग देने का आश्वासन दिया।