महिला एवं बाल विकास मंत्रालय भारत सरकार द्वारा संचालित प्रधानमंत्री मातृत्व वंदना योजना के तहत 1 से 7 सितंबर तक मातृत्व वंदना योजना सप्ताह मनाया जा रहा है। जिसके तहत पूरे प्रखंड की सेविकाओं से इस योजना से लाभ पाने वाले लाभुकों का आवेदन बाल विकास परियोजना दिघलबैंक के कार्यालय में महिला पर्यवेक्षिका द्वारा लिया जा रहा है। मातृत्व वंदना योजना सप्ताह के तहत सोमवार को बाल विकास कार्यालय में आवेदन लेने हेतु स्टॉल लगाया गया। जहां पर इस योजना के पात्र लाभुक अपने क्षेत्र की सेविकाओं के साथ आकर अपना आवेदन जमा किए।
भारत सरकार के इस योजना के तहत प्रथम बार गर्भवती होने वाली महिलाओं को सरकार द्वारा प्रथम किस्त के रूप में एक हजार की राशि दी जाती है। यह राशि सरकारी संस्थाओं में पंजीकरण करने के उपरांत दी जाती है। दूसरी किस्त में दो हजार की राशि लाभुक को दी जाती है। तृतीय एवं अंतिम किस्त के रूप में भी दो हजार की राशि पूर्ण टीकाकरण करने के उपरांत दी जाती है। सरकार द्वारा चलाए जा रहे इस योजना का मुख्य उद्देश्य सरकारी अस्पतालों में संस्थागत तरीके से प्रसव को बढ़ावा देना एवं प्रसव उपरांत बच्चे का संपूर्ण टीकाकरण करवाना है। वैसे तो यह योजना पूरे साल चलती रहती है। परंतु दूर-दराज के इलाकों तक इस योजना का लाभ पहुंचाने के लिए प्रतिवर्ष सितंबर माह में मातृत्व वंदना योजना सप्ताह मनाया जाता है।
अधिक से अधिक लोगों को इस योजना का लाभ पहुंचाने के उद्देश्य से ही महिला पर्यवेक्षिका द्वारा सेविकाओं के माध्यम से प्रचार प्रसार कर इस योजना का फॉर्म कार्यालय में जमा करवाया जा रहा है। इस मौके पर महिला पर्यवेक्षिका श्वेता कुमारी, तलत नसरीन व सेफाली दास के साथ दर्जनों सेविका मौजूद थी।
सारस न्यूज टीम, दिघलबैंक।
महिला एवं बाल विकास मंत्रालय भारत सरकार द्वारा संचालित प्रधानमंत्री मातृत्व वंदना योजना के तहत 1 से 7 सितंबर तक मातृत्व वंदना योजना सप्ताह मनाया जा रहा है। जिसके तहत पूरे प्रखंड की सेविकाओं से इस योजना से लाभ पाने वाले लाभुकों का आवेदन बाल विकास परियोजना दिघलबैंक के कार्यालय में महिला पर्यवेक्षिका द्वारा लिया जा रहा है। मातृत्व वंदना योजना सप्ताह के तहत सोमवार को बाल विकास कार्यालय में आवेदन लेने हेतु स्टॉल लगाया गया। जहां पर इस योजना के पात्र लाभुक अपने क्षेत्र की सेविकाओं के साथ आकर अपना आवेदन जमा किए।
भारत सरकार के इस योजना के तहत प्रथम बार गर्भवती होने वाली महिलाओं को सरकार द्वारा प्रथम किस्त के रूप में एक हजार की राशि दी जाती है। यह राशि सरकारी संस्थाओं में पंजीकरण करने के उपरांत दी जाती है। दूसरी किस्त में दो हजार की राशि लाभुक को दी जाती है। तृतीय एवं अंतिम किस्त के रूप में भी दो हजार की राशि पूर्ण टीकाकरण करने के उपरांत दी जाती है। सरकार द्वारा चलाए जा रहे इस योजना का मुख्य उद्देश्य सरकारी अस्पतालों में संस्थागत तरीके से प्रसव को बढ़ावा देना एवं प्रसव उपरांत बच्चे का संपूर्ण टीकाकरण करवाना है। वैसे तो यह योजना पूरे साल चलती रहती है। परंतु दूर-दराज के इलाकों तक इस योजना का लाभ पहुंचाने के लिए प्रतिवर्ष सितंबर माह में मातृत्व वंदना योजना सप्ताह मनाया जाता है।
अधिक से अधिक लोगों को इस योजना का लाभ पहुंचाने के उद्देश्य से ही महिला पर्यवेक्षिका द्वारा सेविकाओं के माध्यम से प्रचार प्रसार कर इस योजना का फॉर्म कार्यालय में जमा करवाया जा रहा है। इस मौके पर महिला पर्यवेक्षिका श्वेता कुमारी, तलत नसरीन व सेफाली दास के साथ दर्जनों सेविका मौजूद थी।
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