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बिहार की गरिमा लोहिया ने बिहार की बढ़ाई गरिमा, विधवा मां की प्रेरणा से गरिमा ने देश की सर्वोच्च परीक्षा में लहराया परचम।

सारस न्यूज, किशनगंज।

संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) ने सिविल सेवा 2022 की परीक्षा में बिहार की गरिमा लोहिया ने पूरे भारत में सेकेंड रैंक लाकर राज्य का नाम रोशन किया है। गरिमा लोहिया बक्सर जिला की रहने वाली हैं। तीन भाई-बहनों में गरिमा दूसरे स्थान पर हैं। गरिमा के पिता नहीं है। साल 2015 में उनका निधन हो गया। वे पेशे से एक व्यवसायी थे। पिता की मौत के बाद गरिमा की मां ने अपने तीनों बच्चों को संभाला। गृहिणी रहते हुए उन्होंने बच्चों को पढ़ाई के लिए प्रेरित किया। एक साल पहले गरिमा की बड़ी बहन की शादी हुई है। गरिमा का एक छोटा भाई है। गरिमा अपनी जिंदगी में सबसे बड़ी प्रेरणा मां को मानती हैं। देश की सर्वोच्च परीक्षा में गरिमा ने दूसरे प्रयास में दूसरा स्थान हासिल किया है। अपनी सफलता पर गरिमा ने कहा कि मां मेरे साथ रातभर जगती थी। खाने-पीने का ध्यान रखती थी। मां का सपना था कि मैं आईएएस बनूं। मेरी सफलता उनकी मेहनत का नतीजा है। गरिमा लोहिया ने दसवीं तक की शिक्षा बक्सर से की थी। इसके बाद वह आगे की पढ़ाई के लिए बनारस और फिर दिल्ली चली गईं थी। दिल्ली के किरोड़ीमल कॉलेज से उन्होंने स्नातक की पढ़ाई की है। इसी दौरान 2020 में कोविड के प्रकोप के बीच गरिमा वापस बिहार स्थित अपने गृह जिला बक्सर लौट आईं थी। इसके बाद उन्होंने घर से ही यूपीएससी की पढ़ाई शुरू की। गरिमा ने बताया कि पहले खुद से तैयारी शुरू की। फिर ऑनलाइन किताबें मंगवाई। गरिमा ने पढ़ाई के लिए यूट्यूब और ऑनलाइन उपलब्ध सामाग्री की भी प्रयोग किया। बक्सर जैसे छोटे शहर में रहकर देश की सबसे कठिन परीक्षा में दूसरा स्थान हासिल कर गरिमा ने एक अलग मिसाल पेश की है। गरिमा की सफलता की खबर से पूरे शहर सहित राज्यभर में उत्साह का माहौल है। गरिमा के घर पर बधाइयों का तांता लगा है। परिवारवाले और रिश्तेदार फोन कर भी गरिमा की सफलता पर मां को शुभकामनाएं दे रहे हैं। 

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