• Sat. Oct 4th, 2025

Saaras News - सारस न्यूज़ - चुन - चुन के हर खबर, ताकि आप न रहें बेखबर

किशनगंज के लिए गौरव का क्षण काशीबाड़ी केंद्र को मिला राष्ट्रीय आकलन का अवसर।

सारस न्यूज़, किशनगंज।

किसी जिले की तरक्की का सबसे बड़ा आधार उसकी स्वास्थ्य सुविधाएं होती हैं। जब प्राथमिक स्तर तक गुणवत्तापूर्ण सेवाएं पहुंचती हैं, तब लोगों में भरोसा और आत्मविश्वास दोनों बढ़ते हैं। बिहार का सीमांत जिला किशनगंज, जहां अब तक स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर कई चुनौतियां थीं, अब तेजी से बदलाव की राह पर अग्रसर हो रहा है। इसी बदलाव का बड़ा उदाहरण कोचाधामन प्रखंड स्थित काशीबाड़ी हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर बना, जहां 30 जून को राष्ट्रीय गुणवत्ता आश्वासन मानक (NQAS) के तहत केंद्रीय आकलन दल ने पहली बार प्रमाणीकरण मूल्यांकन किया। यह घटना न केवल जिले बल्कि पूरे सीमांचल के लिए गौरव का विषय है।

केंद्रीय टीम ने गहन मूल्यांकन किया

केंद्र सरकार द्वारा नामित राष्ट्रीय असेसर टीम की सदस्य श्रीमती अंकिता नाथ और श्रीमती सुनीता श्रीवास्तव ने स्वास्थ्य केंद्र की व्यवस्थाओं का व्यापक निरीक्षण किया। इस दौरान सेवाओं की गुणवत्ता, प्रबंधन, स्वच्छता, दवाओं की उपलब्धता, दस्तावेजों के रखरखाव, मरीजों की संतुष्टि और 12 प्रमुख मापदंडों पर विस्तृत जांच की गई। टीम ने अपनी प्रतिक्रिया में केंद्र की तैयारियों और सेवाओं को संतोषजनक करार दिया। पहली बार किसी हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर पर यह मूल्यांकन होने से जिले में स्वास्थ्य सुधार की एक नई मिसाल कायम हुई है।

टीमवर्क और सतर्क तैयारी ने दिलाई सफलता

सिविल सर्जन डॉ. राज कुमार चौधरी ने बताया कि आकलन के दौरान DQAC प्रभारी श्री सुमन सिन्हा ने समन्वय की भूमिका निभाई। जिला कार्यक्रम प्रबंधक डॉ. मुनाजिम, प्रखंड स्वास्थ्य प्रबंधक श्री किशोर कुमार, बीसीएम, सीएचओ, एएनएम और पिरामल स्वास्थ्य व PSI संस्था के प्रतिनिधियों ने सक्रिय सहभागिता निभाई। सभी ने एकजुट होकर यह सुनिश्चित किया कि हर कसौटी पर केंद्र मजबूत साबित हो।

एक नई शुरुआत की ओर

सिविल सर्जन ने कहा कि काशीबाड़ी हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर ने दिखा दिया है कि प्रतिबद्धता हो तो सीमित संसाधनों में भी बेहतर परिणाम लाए जा सकते हैं। यह बदलाव केवल एक केंद्र तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि जिले के अन्य संस्थानों को भी प्रेरित करेगा।

लोगों का विश्वास ही असली पहचान

जिलाधिकारी श्री विशाल राज ने इसे जिले के लिए मील का पत्थर बताते हुए कहा—
“हमारा प्रयास सिर्फ आंकड़ों में सुधार तक सीमित नहीं है, बल्कि हमें लोगों के विश्वास को और मजबूत करना है। काशीबाड़ी सेंटर पर एनक्वास आकलन यह साबित करता है कि जिला प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग की टीम अंतिम व्यक्ति तक गुणवत्तापूर्ण सेवा पहुंचाने के लिए पूरी तरह समर्पित है।”

कैसे हुआ कायाकल्प

सिविल सर्जन ने बताया कि कुछ वर्ष पहले तक यह केंद्र आधारभूत सुविधाओं की कमी से जूझ रहा था। लेकिन स्थानीय नेतृत्व की पहल और जिला प्रशासन की निगरानी में संपर्क पथ का निर्माण हुआ। इसके बाद केंद्र में स्वच्छता, रिकॉर्ड प्रबंधन, सेवाओं की सुदृढ़ता और मरीजों की सुविधाओं के लिहाज से लगातार सुधार किए गए। वर्तमान में यहां ANC, NCD, टीकाकरण, एनीमिया मुक्त भारत अभियान, प्रसव पूर्व व प्रसव पश्चात देखभाल जैसी सेवाएं गुणवत्तापूर्वक संचालित हो रही हैं।

NQAS प्रमाणीकरण के संभावित लाभ

डॉ. राज कुमार चौधरी ने बताया कि प्रमाणीकरण के बाद—

  • आमजन को समयबद्ध और सुरक्षित स्वास्थ्य सेवाएं मिलेंगी।
  • केंद्र को राज्य स्तरीय योजनाओं में वरीयता मिलेगी।
  • स्वास्थ्यकर्मियों का मनोबल बढ़ेगा।
  • अन्य हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर्स के लिए यह एक रोल मॉडल बनेगा।

एक भरोसेमंद केंद्र का उदय

DQAC प्रभारी श्री सुमन सिन्हा ने कहा कि काशीबाड़ी हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर अब सिर्फ इलाज का स्थान नहीं, बल्कि सामुदायिक विश्वास, गरिमा और स्वास्थ्य सुरक्षा का प्रतीक बन चुका है। केंद्रीय टीम की रिपोर्ट का सभी बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं। यदि सबकुछ योजना के अनुरूप रहा तो किशनगंज को बहुत जल्द उसका पहला NQAS प्रमाणित हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर प्राप्त होगा।


By Hasrat

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *