बिहार के लिए गर्व का क्षण है। राज्य की गोकुल जलाशय (बक्सर) और उदयपुर झील (पश्चिम चंपारण) को शुक्रवार को अंतरराष्ट्रीय महत्व की आर्द्रभूमि यानी रामसर साइट का दर्जा मिला है। यह घोषणा केंद्रीय पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव ने की।
यादव ने एक्स (X) पर जानकारी देते हुए बताया कि गोकुल जलाशय 448 हेक्टेयर में फैला है, जबकि उदयपुर झील 319 हेक्टेयर क्षेत्र में स्थित है। इन दोनों झीलों को शामिल किए जाने के साथ ही देश में अब कुल 93 रामसर साइट्स हो चुकी हैं, जो लगभग 13.60 लाख हेक्टेयर क्षेत्रफल में फैली हैं।
शाबाश बिहार!
India strengthens its commitment to wetlands conservation with the addition of two new Ramsar Sites from Bihar – Gokul Jalashay (448 ha) in Buxar district, and Udaipur Jheel (319 ha) in West Champaran district.
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि यह उपलब्धि भारत की wetlands संरक्षण के प्रति मजबूत प्रतिबद्धता को दर्शाती है। इससे जैव विविधता, जलवायु संतुलन और आजीविका के साधनों की सुरक्षा में मदद मिलेगी।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी इस घोषणा पर प्रसन्नता जताई। उन्होंने एक्स पर लिखा – “यह शानदार खबर है! आर्द्रभूमियां सतत विकास के लिए बेहद ज़रूरी हैं। बिहार के लोगों को विशेष बधाई, जिन्होंने विचार और कर्म दोनों से पर्यावरण संरक्षण में अग्रणी भूमिका निभाई है।”
Wonderful news! Wetlands are vital to sustainable development. A special appreciation to the people of Bihar, who are showing in thought and action how to be at the forefront of environmental conservation. https://t.co/BXUNIjl46S
रामसर कन्वेंशन के तहत मिलने वाला यह दर्जा wetlands के वैश्विक महत्व को मान्यता देता है। इसका मुख्यालय ग्लैंड, स्विट्ज़रलैंड में स्थित है।
गोकुल जलाशय और उदयपुर झील के रामसर सूची में जुड़ने से बिहार अब भारत की पर्यावरण संरक्षण यात्रा में और मज़बूत योगदान देने वाले राज्यों में शामिल हो गया है।
सारस न्यूज़, वेब डेस्क।
बिहार के लिए गर्व का क्षण है। राज्य की गोकुल जलाशय (बक्सर) और उदयपुर झील (पश्चिम चंपारण) को शुक्रवार को अंतरराष्ट्रीय महत्व की आर्द्रभूमि यानी रामसर साइट का दर्जा मिला है। यह घोषणा केंद्रीय पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव ने की।
यादव ने एक्स (X) पर जानकारी देते हुए बताया कि गोकुल जलाशय 448 हेक्टेयर में फैला है, जबकि उदयपुर झील 319 हेक्टेयर क्षेत्र में स्थित है। इन दोनों झीलों को शामिल किए जाने के साथ ही देश में अब कुल 93 रामसर साइट्स हो चुकी हैं, जो लगभग 13.60 लाख हेक्टेयर क्षेत्रफल में फैली हैं।
शाबाश बिहार!
India strengthens its commitment to wetlands conservation with the addition of two new Ramsar Sites from Bihar – Gokul Jalashay (448 ha) in Buxar district, and Udaipur Jheel (319 ha) in West Champaran district.
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि यह उपलब्धि भारत की wetlands संरक्षण के प्रति मजबूत प्रतिबद्धता को दर्शाती है। इससे जैव विविधता, जलवायु संतुलन और आजीविका के साधनों की सुरक्षा में मदद मिलेगी।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी इस घोषणा पर प्रसन्नता जताई। उन्होंने एक्स पर लिखा – “यह शानदार खबर है! आर्द्रभूमियां सतत विकास के लिए बेहद ज़रूरी हैं। बिहार के लोगों को विशेष बधाई, जिन्होंने विचार और कर्म दोनों से पर्यावरण संरक्षण में अग्रणी भूमिका निभाई है।”
Wonderful news! Wetlands are vital to sustainable development. A special appreciation to the people of Bihar, who are showing in thought and action how to be at the forefront of environmental conservation. https://t.co/BXUNIjl46S
रामसर कन्वेंशन के तहत मिलने वाला यह दर्जा wetlands के वैश्विक महत्व को मान्यता देता है। इसका मुख्यालय ग्लैंड, स्विट्ज़रलैंड में स्थित है।
गोकुल जलाशय और उदयपुर झील के रामसर सूची में जुड़ने से बिहार अब भारत की पर्यावरण संरक्षण यात्रा में और मज़बूत योगदान देने वाले राज्यों में शामिल हो गया है।
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