किशनगंज के खगड़ा रेड लाइट एरिया से एक नाबालिग युवती जान बचाकर भाग निकली। युवती भागकर खगड़ा पासवान टोला के एक घर में शरण ली। स्थानीय लोगों ने साहस दिखाते हुए उसकी मदद की और तत्काल घटना की सूचना टाउन थाना पुलिस को दी।
पीड़िता असम की रहने वाली बताई जा रही है। उसने बताया कि उसे नशे की दवाइयाँ खिला कर देह व्यापार कराया जाता था। पीड़िता ने यह भी खुलासा किया कि उसकी छोटी बहन को भी काम का लालच देकर रेड लाइट एरिया में मुन्नी नाम की महिला के पास लाया गया था, जो अब तक लापता है।
पीड़िता ने बताया कि उसका असली नाम छुपाकर वहाँ उसे “काजल” नाम दिया गया था। एक दिन जब उसे नशीली दवा खाने के लिए कमरे में भेजा गया, तो उसने पीछे के रास्ते से भागकर जान बचाई। उसके मुताबिक, देह व्यापार में शामिल लोग उसे लगातार डरा-धमकाकर रखते थे, मना करने पर मारपीट करते और जान से मारने की धमकी भी देते थे। आपबीती सुनाते हुए युवती पत्रकारों के सामने रो पड़ी।
युवती ने बताया कि वह असम में अपनी छोटी बहन के साथ भीख मांगकर पिता (जो कैंसर से पीड़ित थे) और परिवार का पालन-पोषण करती थी। भीख मांगने के दौरान उसे एक महिला मिली जिसने फैक्ट्री में काम दिलाने का लालच दिया। महिला ने अधिक रुपये कमाने का प्रलोभन देकर दोनों बहनों को फैक्ट्री ले जाने के बजाय किशनगंज लाकर खगड़ा रेड लाइट एरिया में मुन्नी नाम की महिला को बेच दिया।
पीड़िता ने बताया कि मुन्नी इस रेड लाइट एरिया की सरगना है, जो नाबालिग लड़कियों को नशीली दवाइयाँ खिला कर उनसे देह व्यापार करवाती है। उसके पास और भी कई लड़कियाँ इस धंधे में मजबूर की जा रही हैं।
स्थानीय लोगों की मदद से बचाई गई यह नाबालिग फिलहाल सुरक्षित है और उसे टाउन थाना पुलिस के हवाले कर दिया गया है। पुलिस ने मौके पर पहुँचकर पीड़िता से पूछताछ की और उसे थाने ले गई। पीड़िता के बयान के आधार पर पुलिस ने मामला दर्ज कर आगे की कार्रवाई शुरू कर दी है।
राहुल कुमार, सारस न्यूज़, किशनगंज।
किशनगंज के खगड़ा रेड लाइट एरिया से एक नाबालिग युवती जान बचाकर भाग निकली। युवती भागकर खगड़ा पासवान टोला के एक घर में शरण ली। स्थानीय लोगों ने साहस दिखाते हुए उसकी मदद की और तत्काल घटना की सूचना टाउन थाना पुलिस को दी।
पीड़िता असम की रहने वाली बताई जा रही है। उसने बताया कि उसे नशे की दवाइयाँ खिला कर देह व्यापार कराया जाता था। पीड़िता ने यह भी खुलासा किया कि उसकी छोटी बहन को भी काम का लालच देकर रेड लाइट एरिया में मुन्नी नाम की महिला के पास लाया गया था, जो अब तक लापता है।
पीड़िता ने बताया कि उसका असली नाम छुपाकर वहाँ उसे “काजल” नाम दिया गया था। एक दिन जब उसे नशीली दवा खाने के लिए कमरे में भेजा गया, तो उसने पीछे के रास्ते से भागकर जान बचाई। उसके मुताबिक, देह व्यापार में शामिल लोग उसे लगातार डरा-धमकाकर रखते थे, मना करने पर मारपीट करते और जान से मारने की धमकी भी देते थे। आपबीती सुनाते हुए युवती पत्रकारों के सामने रो पड़ी।
युवती ने बताया कि वह असम में अपनी छोटी बहन के साथ भीख मांगकर पिता (जो कैंसर से पीड़ित थे) और परिवार का पालन-पोषण करती थी। भीख मांगने के दौरान उसे एक महिला मिली जिसने फैक्ट्री में काम दिलाने का लालच दिया। महिला ने अधिक रुपये कमाने का प्रलोभन देकर दोनों बहनों को फैक्ट्री ले जाने के बजाय किशनगंज लाकर खगड़ा रेड लाइट एरिया में मुन्नी नाम की महिला को बेच दिया।
पीड़िता ने बताया कि मुन्नी इस रेड लाइट एरिया की सरगना है, जो नाबालिग लड़कियों को नशीली दवाइयाँ खिला कर उनसे देह व्यापार करवाती है। उसके पास और भी कई लड़कियाँ इस धंधे में मजबूर की जा रही हैं।
स्थानीय लोगों की मदद से बचाई गई यह नाबालिग फिलहाल सुरक्षित है और उसे टाउन थाना पुलिस के हवाले कर दिया गया है। पुलिस ने मौके पर पहुँचकर पीड़िता से पूछताछ की और उसे थाने ले गई। पीड़िता के बयान के आधार पर पुलिस ने मामला दर्ज कर आगे की कार्रवाई शुरू कर दी है।
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