संकल्प: हब फॉर एंपावरमेंट ऑफ़ वीमेन योजना के तहत 100 दिवसीय विशेष जागरूकता अभियान के अंतर्गत प्रोजेक्ट बालिका उच्च विद्यालय, सौंथा, किशनगंज में सखी वार्ता का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम का शुभारंभ शाहवाज़ आलम (जिला मिशन समन्वयक, महिला एवं बाल विकास निगम), सुशील कुमार झा (जेंडर विशेषज्ञ), मेनका झा (वित्तीय साक्षरता विशेषज्ञ), और पवन कुमार (पारा लीगल अधिवक्ता) द्वारा संयुक्त रूप से किया गया।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए शाहवाज़ आलम ने कहा कि बालिकाएं आज हर क्षेत्र में प्रगति कर रही हैं, इसलिए उन्हें पढ़ने और आगे बढ़ने के समान अवसर मिलना चाहिए। बेटा-बेटी में भेदभाव न करते हुए दोनों को समान अवसर प्रदान किए जाएं। उन्होंने यह भी कहा कि सरकार महिलाओं और बालिकाओं के लिए विभिन्न योजनाएं चला रही है और उनकी सुरक्षा व संरक्षण के लिए कानूनी प्रावधान भी हैं। उन्होंने जिले में संचालित “सखी वन स्टॉप सेंटर” और “जिला हब फॉर इम्पावरमेंट ऑफ वीमेन” का उल्लेख करते हुए बताया कि महिलाएं और बालिकाएं इनसे सहायता प्राप्त कर सकती हैं। उन्होंने “सखी वन स्टॉप सेंटर” का मोबाइल नंबर 9771468017 और महिला हेल्पलाइन टोल फ्री नंबर 181 भी साझा किया।
सुशील कुमार झा ने अपने संबोधन में कहा कि बालिकाओं का सही ढंग से लालन-पालन करते हुए उनकी शिक्षा सुनिश्चित करें। उन्होंने बाल विवाह की चर्चा करते हुए कहा कि बेटी की शादी 18 वर्ष के बाद और बेटे की शादी 21 वर्ष के बाद ही करनी चाहिए। मेनका झा ने वित्तीय साक्षरता के बारे में बताते हुए महिलाओं और बालिकाओं से संबंधित सरकारी योजनाओं की जानकारी दी और उन्हें कानूनी अधिकारों के प्रति जागरूक किया। इस कार्यक्रम में पवन कुमार, पारा लीगल अधिवक्ता, MTS सोना दास, प्रोजेक्ट बालिका उच्च विद्यालय, सौंथा के प्रधानाचार्य, शिक्षकगण, और सैकड़ों की संख्या में बालिकाएं उपस्थित रहीं।
राहुल कुमार, सारस न्यूज, किशनगंज।
संकल्प: हब फॉर एंपावरमेंट ऑफ़ वीमेन योजना के तहत 100 दिवसीय विशेष जागरूकता अभियान के अंतर्गत प्रोजेक्ट बालिका उच्च विद्यालय, सौंथा, किशनगंज में सखी वार्ता का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम का शुभारंभ शाहवाज़ आलम (जिला मिशन समन्वयक, महिला एवं बाल विकास निगम), सुशील कुमार झा (जेंडर विशेषज्ञ), मेनका झा (वित्तीय साक्षरता विशेषज्ञ), और पवन कुमार (पारा लीगल अधिवक्ता) द्वारा संयुक्त रूप से किया गया।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए शाहवाज़ आलम ने कहा कि बालिकाएं आज हर क्षेत्र में प्रगति कर रही हैं, इसलिए उन्हें पढ़ने और आगे बढ़ने के समान अवसर मिलना चाहिए। बेटा-बेटी में भेदभाव न करते हुए दोनों को समान अवसर प्रदान किए जाएं। उन्होंने यह भी कहा कि सरकार महिलाओं और बालिकाओं के लिए विभिन्न योजनाएं चला रही है और उनकी सुरक्षा व संरक्षण के लिए कानूनी प्रावधान भी हैं। उन्होंने जिले में संचालित “सखी वन स्टॉप सेंटर” और “जिला हब फॉर इम्पावरमेंट ऑफ वीमेन” का उल्लेख करते हुए बताया कि महिलाएं और बालिकाएं इनसे सहायता प्राप्त कर सकती हैं। उन्होंने “सखी वन स्टॉप सेंटर” का मोबाइल नंबर 9771468017 और महिला हेल्पलाइन टोल फ्री नंबर 181 भी साझा किया।
सुशील कुमार झा ने अपने संबोधन में कहा कि बालिकाओं का सही ढंग से लालन-पालन करते हुए उनकी शिक्षा सुनिश्चित करें। उन्होंने बाल विवाह की चर्चा करते हुए कहा कि बेटी की शादी 18 वर्ष के बाद और बेटे की शादी 21 वर्ष के बाद ही करनी चाहिए। मेनका झा ने वित्तीय साक्षरता के बारे में बताते हुए महिलाओं और बालिकाओं से संबंधित सरकारी योजनाओं की जानकारी दी और उन्हें कानूनी अधिकारों के प्रति जागरूक किया। इस कार्यक्रम में पवन कुमार, पारा लीगल अधिवक्ता, MTS सोना दास, प्रोजेक्ट बालिका उच्च विद्यालय, सौंथा के प्रधानाचार्य, शिक्षकगण, और सैकड़ों की संख्या में बालिकाएं उपस्थित रहीं।
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